हवा का रुख विपरित था, जिस वजह से शेड, रेलवे ट्रैक की बजाए स्टेशन के बाहर की ओर गिरा। यदि रेलवे ट्रैक या प्लेटफार्म पर गिरता तो यात्री घायल हो सकते थे। सूत्रों की मानें तो दोनों की कार्य को इंजीनियरिंग विभाग ने करोड़ों का भुगतान कर कार्य कराया था, लेकिन कमीशन के चक्कर में कार्य की गुणवत्ता को नजर अंदाज कर दिया गया।जबलपुररेल मंडल की सीमा में चल रहे निर्माण कार्यों की गुणवत्ता एक बार फिर सवालों के घेरे में आ गई है। मंडल के इंजीनियरिंग विभाग द्वारा करोड़ों का भुगतान कर किए गए निर्माण कार्यों के गुणवत्ताहीन कामों ने यात्री की सुरक्षा और ट्रेनों के संचालन को खतरे में डाल दिया